गन्ने की फसल में खतरनाक कीट टॉप बोरर का प्रकोप बढ़ा

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हसनपुर(मुबारिजपुर)। पिछले साल की अपेक्षाकृत इस वर्ष क्षेत्र में गन्ने की फसल में टॉप बोरर का प्रकोप बहुत अधिक दिखाई दे रहा है, जो किसान व चीनी मिल दोनों को नुकसान करेगा। यह कीट समय से पहले ही सक्रिय हो गया है, इसलिये गंभीर समस्या हो रही है। अभी टॉप बोरर की दूसरी पीढ़ी चल रही है। 8-10 दिन बाद इसकी सूंडी तीसरी पीढ़ी के लिए फिर अंडा देगी, यही तीसरी पीढ़ी सबसे अधिक नुकसान करती है, जिसमे पैदावार 30-50 प्रतिशत तक कम होती है। इसी संकट और समस्या को ध्यान में रखते हुए सोमवार को चीनी मिल चंदनपुर ने भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद गन्ना प्रजनन संस्थान क्षेत्रीय केंद्र करनाल से आये संस्थान प्रमुख एवं कृषि कीट बैज्ञानिक डॉक्टर एस.के.पांडे एवं डा.एम.एल.छाबड़ा पादप रोग वैज्ञानिक द्वारा चीनी मिल क्षेत्र के अधिकांश ग्रामों का भ्रमण किया गया। भ्रमण के दौरान खेत में जाकर इस कीट के द्वारा किये गए नुकसान का जायजा लिया और इस कीट से आगे भविष्य में होने वाले भयंकर नुकसान का अंदेशा जताया। साथ ही साथ ग्राम जल्लोपुर और ग्राम सिरसा कला में कृषकों की मीटिंग आयोजित की गई। इस मीटिंग में इस कीट के रोकथाम के लिए विस्तार से अवगत कराया गया। कैसे पहचाने और इसके नियंत्रण का क्या उपाय है। कोराजन की दवाई इस कीड़े के लिए बहुत उचित है। कीट से बचने के लिए अतिशीघ्र कोराजन का प्रयोग अपने खेत में करने के लिए कहा, क्योंकि अभी इस कीट की रोकथाम नही की गई तो भयानक परिणाम होंगे। कोराजन 150 मिलीलीटर दवा को 400 लीटर पानी में घोलकर नोजल खोल के पौधे की जड़ के पास ड्रेंचिंग करना ही एक मात्र कारगर उपाय है।
डा.पाण्डेय ने यह भी सुझाव दिया कि इस कीट की रोकथाम एवं बचाव के लिए पेंडी पौधा के प्लाट की निराई-गुड़ाई करके साफ रखें। चीनी मिल के उपाध्यक्ष आमोद कुमार शर्मा द्वारा विजिट के लिए आये सभी वैज्ञानिकों का धन्यवाद दिया गया और सभी चीनी मिल कार्मिकों को कहा कि ज्यादा से ज्यादा अपने क्षेत्र में इस कीट की रोकथाम के लिए कृषकों को अवगत कराएं। जागरूक करे कि इस कीट से सावधान हो जाए और टॉप बोरर से गन्ने की फसल को बचाने के लिए तुरंत कोराजन का प्रयोग हेतु प्रेरित करें। किसानों में जागरूकता बढ़ाने की अपील की और कहा कि अपनी फसल को कीड़ों रोगों से मुक्त रखें ताकि आपको भरपूर पैदावार प्राप्त हो। कोराजन की सही मात्रा, सही तरीका और सही समय पर ही प्रयोग करके टॉप बोरर के प्रकोप से बचा जा सकता है। कोराजन लेने के लिए अपने सुपरवाइजर से संपर्क करें। खेतो में इस कीट का प्रकोप दिखाई दे रहा है, फसल बहुत प्रभावित है। मीटिंग में हर ग्राम में 30-40 किसान मौजूद थे किसानों को टॉप बोरर से सावधान और सतर्क रहने की और अपनी फसल में तुरन्त कोराजन लगाने की सलाह दी गई।
भ्रमण में चीनी मिल के गन्ना महाप्रबंधक आर.एस.सहरावत, उत्पादन महाप्रबंधक टी.सी.राजौरिया, वरिष्ठ प्रबन्धक क्वालिटी कंट्रोल उदयवीर सिंह,सहायक महाप्रबंधक गन्ना ए.के.तिवारी, सहायक महाप्रबंधक राजपाल सिंह, गन्ना अधिकारी सचिन कुमार, मुकेश कुमार, शरद कुमार ,भानु प्रताप भ्रमण के दौरान साथ रहे।

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