Monday, April 22, 2024

आस्था, विश्वास का केंद्र है चंदायन दुर्गा मंदिर

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ब्यूरो चीफ, विकास बड़गुर्जर
बिनौली: चंदायन गांव स्थित प्राचीन सिद्ध शक्तिपीठ दुर्गा मंदिर श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र है। यहां प्रतिवर्ष चैत्र नवरात्र में नौ दिवसीय विशाल मेले का आयोजन होता है।
चंदायन गांव का यह मंदिर सच्चिदानंद सदगुरु श्यामसुंदर दास महाराज के चमत्कारों के लिए प्रसिद्ध है। सदगुरु माहराज देवी दुर्गा के अनन्य भक्त थे। सदगुरु की कृपा से अभिभूत होकर गाजियाबाद निवासी अशोकपाल पुत्र शेरसिंह ने यहां पर महाराज के थान स्थल पर भव्य मंदिर का निर्माण कराया। मान्यता है कि जो श्रद्धालु मंदिर से विभूति लेकर जाता है उसकी मनोकामना अवश्य पूर्ण होती है।

चंदायन मंदिर का फोटो

पुजारी धीरज पाठक ने बताया यहां के एक दुग्ध व्यापारी मुकंदापाल को दिल्ली में राजघाट पर संत महात्मा सच्चिदानंद सदगुरु श्यामदास महाराज के दर्शन हुए और उन्हे सिद्धि प्राप्त हो गई। इसके बाद उन्होंने गांव में आकर सतगुरु श्यामदास महराज की प्रतिमा रखकर धूनी लगाकर कठोर तप किया। उनकी भक्ति का प्रताप आस-पास के लोगों में फैलने लगा और दीन-दु:खी उनके पास आने लगे। वह सच्चिदानंद सदगुरु श्यामदास महाराज के नाम लेकर विभूति देते तो दुखियारों के कष्ट दूर होने लगे। गाजियाबाद के अशोक पाल भी उनके पास पुत्र की प्राप्ति की मनोकामना लिए आए। मुकंदापाल की प्रेरणा से अशोकपाल ने सच्चिदानंद सदगुरु श्यामदास महाराज दिल्ली के दरबार में अरदास लगाई तो पुत्र रत्‍‌न की प्राप्ति हुई। इसी के साथ उनके सारे कष्ट भी दूर हो गए। इस चमत्कार से अभिभूत होकर अशोकपाल ने वर्ष 2000 में समाज के सहयोग से चंदायन गांव में दुर्गा मंदिर की स्थापना की। मंदिर में सच्चिदानंद सतगुरु, माता दुर्गा और भगत मुकंदापाल की मूर्तियां स्थापित कराई। लोगों में लगातार इस मंदिर के प्रति आस्था बढ़ती जा रही है। यहॉ हर वर्ष चैत्र नवरात्र में नौ दिवसीय विशाल लगता है।
मंदिर सरक्षक अशोकपाल ने बताया कि मेले के मद्देनजर प्रशासन से अनुमति ले ली गई है। मेले की सभी तैयारियां पूरी कर ली गयी है। मंदिर परिसर को लाइट डेकोरेशन, झालरों से सजाया गया। मेले में गगनचुंबी हिंडोले, नाव आदि मनोरंजक सामान लगकार तैयार हो गये है। बुधवार को रालोद के छपरौली विधायक डा.अजय कुमार मेले का शुभारंभ करेंगे।

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